मंगल दोष निवारण मंत्र

मंगल दोष निवारण मंत्र – आसान मंत्रो से पाए मंगल दोष से मुक्ति

ज्योतिष शास्त्र में मंगल को निर्भीकता और साहस के प्रतीक के रूप में देखा जाता है। कुछ लोगों द्वारा इस ग्रह को अत्यंत खतरनाक और पापपूर्ण माना जाता है। ज्योतिषियों का दावा है कि यदि किसी व्यक्ति की कुंडली में मंगल शुभ स्थिति में नहीं है, तो उसे जीवन भर कई तरह की भावनात्मक और […]

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कालसर्प दोष पूजा कहा होती है

कालसर्प दोष पूजा कहा होती है?

कालसर्प दोष एक बहुत ही खतरनाक दोष है, यह दोष जिस किसी भी जातक की कुंडली मे परिलक्षित होता है उसे जीवन मे बहुत सारी परेशानियों का सामना करना पड़ता है। कालसर्प दोष तब बनता है जब कुंडली मे स्थित सारे गृह राहू और केतु के बीच मे आ जाते है, और इस दोष से

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कालसर्प दोष के प्रकार

जानिए कालसर्प दोष के प्रकार व निवारण उपाय

भारतीय ज्योतिष के अनुसार, जिस किसी मनुष्य की जन्म कुंडली में राहु और केतु के बीच समस्त ग्रह स्थित होते हैं,उस स्थिति मे कुंडली मे कालसर्प दोष बनाता है। पौराणिक कथा के अनुसार, जिस व्यक्ति की कुंडली में कालसर्प योग होता है, उसे जीवन में कई तरह की कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है। इस

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मंगल दोष के लक्षण

मंगल दोष के लक्षण व इसके निवारण उपाय

ज्योतिष शास्त्र में मंगल ग्रह का विशेष महत्व होता है. मंगल को ग्रहों का सेनापति कहा गया है. ज्योतिष शास्त्र के अनुसार व्यक्ति को मंगल के आशीर्वाद के बिना जीवन में सफलता प्राप्त नहीं होती है. और अगर किसी मनुष्य की कुंडली मे मंगल दोष परिलक्षित होता है उनका जीवन सदैव ही समस्यों का सामना

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मंगल पूजा के लाभ

मंगल दोष पूजा के लाभ: क्यो जरूरी है मंगल पूजा

जिस प्रकार हम सभी जानते है की यदि की मनुष्य की जन्म कुंडली मे मंगल दोष परिलक्षित होता है तो उनको अपने जीवन कई सारी कठनाइयों का सामना करना पड़ता है जिसके चलते हुए वह सदैव ही परेशान और तनाव मे रहते है और चिंतित रहने की वजह से हमेशा गुस्सा करते है और अपने

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कालसर्प दोष की पूजा कब होती है

कालसर्प दोष की पूजा कब होती है?

कालसर्प दोष तब बनता है जब कुंडली में सभी ग्रह राहु और केतु के बीच स्थित होते हैं। यह एक अशुभ दोष माना जाता है जो जीवन में कई तरह की समस्याएं पैदा कर सकता है। कालसर्प दोष के प्रभावों को कम करने के लिए कई उपाय किए जा सकते हैं, जिनमें से एक है

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